महराजगंज के पूर्व सांसद प्रभुनाथ सिंह और उनके भाई दीनानाथ सिंह को झारखंड हाईकोर्ट राहत नही देते हुए उनकी स’जा को बरकरार रखने का आदेश दिया है। हाईकोर्ट ने इन दोनों की अपील याचिका खारिज कर दी है। हाईकोर्ट ने कहा है कि दोनों के ह’त्या की सा’ज़िश में शामिल होने के पर्याप्त साक्ष्य हैं। इस कारण दोनों की अपील खारिज की जाती है।
इसी मामले में प्रभु नाथ सिंह के एक अन्य भाई रितेश सिंह को कोर्ट से राहत मिली है। रितेश सिंह को मामले से बरी कर दिया गया है। निचली अदालत से उसे भी उम्र कैद की सजा मिली थी। हजारीबाग जिला अदालत ने 22 साल तक चले मामले में अशोक सिंह ह’त्या’कांड मामले में बिहार के पूर्व सांसद प्रभुनाथ सिंह व उनके भाई दीनानाथ सिंह और रितेश को आ’जीवन कारावास की सजा सुनाई थी।
अशोक सिंह की ह’त्या 3 जुलाई 1995 को
बाहुबली छवि वाले नेता प्रभुनाथ सिंह को हराकर ही अशोक सिंह आरजेडी से मशरख विधानसभा क्षेत्र से विधायक बने थे। विधायक अशोक सिंह की ह’त्या 3 जुलाई 1995 को पटना में उनके सरकारी आवास 5 स्टैंड रोड में ब’म मा’रकर कर दी गई थी। विधायक अशोक सिंह की पत्नी चांदनी देवी ने ह’त्या’कांड में प्रभुनाथ सिंह के खिलाफ केस दर्ज कराया था। इसमें प्रभुनाथ सिंह के अलावा उसके भाई दीनानाथ सिंह और रितेश सिंह को आरोपी बनाया गया था।